चाहे आप कुवारे हो या विवाहित आपको इस रुलाने वाली प्रेम कहानी (Sad love story in Hindi) को जरूर एक बार पढ़ना चाहिए…क्यों पढ़े? इसका उत्तर कहानी को पढ़ने के बाद खुद ब खुद आपको मिल जाएगा!
रुलाने वाली लव स्टोरी | Sad love story in Hindi
जब मैं उस रात घर पहुंचा तो मेरी पत्नी मेरा इंतजार कर रही थी उसने हम दोनों के लिए डिनर परोसा, मैंने उसका हाथ पकड़ कर कहा, मुझे तुमसे कुछ कहना है। वह नीचे बैठ गई और खामोशी के साथ मेरी तरफ देखने लगी।मैंने उसकी आंखों में एक अजीब सा दर्द महसूस किया।
मै कश्मकश में था, मुझे समझ नहीं आ रहा था कि मैं अपना मुँह कैसे खोलूँ। लेकिन मुझे उसे बताना था कि मेरी जिंदगी और दिमाग में क्या चल रहा है। मुझे उसे बताना था कि मुझे तलाक चाहिए। मैंने शांति से इस बात को उसके आगे रख्खा। वह मेरी बातों से नाराज नहीं लग रही थी, बल्कि उसने धीरे से मुझसे पूछा, क्यों?
मैंने उसके सवाल से परहेज किया। तब इससे वह नाराज हो गई। उसने अपने हाथ में पकड़ी चम्मच फेंक दि और मुझ पर चिल्लाई, तुम जानवर हो! उस रात हमने आपस में बात नहीं की। वह पूरी रात रोती रही । मुझे पता था कि वह जानना चाहती थी कि हमारी शादीशुदा जीवन को क्या हुआ था? लेकिन मैं शायद ही उसे कोई संतोषजनक उत्तर दे पाता, मै उसे कैसे बताता की जिस दिल में पहले उसका घर था उस पर अब रीना का राज है! मैं अब उससे प्यार नहीं करता था। मुझे बस उस पर दया आती थी!
अपराध बोध की गहरी भावना के साथ, मैंने एक तलाक के समझौते का पेपर तैयार किया, जिसमें कहा गया था कि वह हमारा घर, हमारी कार और मेरी कंपनी की 30% हिस्सेदारी की मालिकन होगी। जब उसको मैंने वो पेपर दिए तो उसने पलभर उस पर नज़र डाली और फिर उसके टुकड़े-टुकड़े कर दिए। जिस स्त्री ने अपने जीवन के दस वर्ष मेरे साथ बिताए थे, वह अब अजनबी सी लगने लगी थी।
मुझे उसके टाइम, संसाधनों और ऊर्जा जो उसने मुझ पर खर्च किया उसके लिए खेद हुआ लेकिन मैंने जो कहा था, मैं उसे वापस नहीं ले सकता था क्योंकि मैं रीना से बहुत प्यार करता था।
अंत में वह मेरे सामने जोर-जोर से रोई, जिसकी मुझे उम्मीद थी। मेरे लिए उसका रोना वास्तव में एक तरह की रिहाई जैसा था। तलाक का विचार जिसने मुझे कई हफ़्तों से परेशान किया था, अब और मजबूत और स्पष्ट अपनी मंजिल को पाने को लग रहा था।
अगले दिन, मैं बहुत देर से घर वापस आया और देखा कि वह मेज पर कुछ लिख रही है। मैंने रात का खाना नहीं खाया और सीधे सोने चला गया और बहुत तेजी से सो गया क्योंकि मैं रीना के साथ एक व्यस्त दिन के बाद थक गया था। जब मैं उठा, तब भी वह टेबल पर लिख रही थी। मुझे परवाह नहीं थी इसलिए मैं पलट गया और फिर से सो गया।
सुबह उसने अपनी तलाक की शर्तें मुझे बताई: वह मुझसे कुछ नहीं चाहती थी, लेकिन तलाक से पहले उसे एक महीने का नोटिस चाहिए था। उसने अनुरोध किया कि उस एक महीने में हम दोनों यथासंभव सामान्य जीवन जीने के लिए संघर्ष करें। इसके लिए उसके कारण सरल थे: हमारे बेटे की एक महीने में परीक्षा थी और वह हमारी टूटी हुई शादी से उसे मेंटली डिस्टर्ब नहीं करना चाहती थी।
यह तो मुझे भी मंजूर था,बेटा तो हम दोनों का था। लेकिन उसके पास एक और शर्त थी, उसने मुझे याद करने के लिए कहा कि - कैसे मैं उसे अपनी शादी के दिन दुल्हन के कमरे में ले गया था। उसने रिक्वेस्ट किया कि इस 1 महीने तक मै हर दिन उसे अपने बेडरूम से सामने के दरवाजे तक ले जाऊं।
मुझे लगा कि वह पागल हो रही है। लेकिन हमारे साथ मे बितनेवाले अंतिम दिनों को सहन किया जा सके और कोई ड्रामा क्रिएट न हो इस लिए मैंने उसका अजीब अनुरोध स्वीकार कर लिया।
मैंने रीना को अपनी पत्नी की तलाक की शर्तों के बारे में बताया। वह ज़ोर से हंसी और उसे लगा यह सच में पागलपन है। कोई फर्क नहीं पड़ता कि वह कौन सी चालें चलती है, उसे तलाक का सामना करना ही पड़ेगा, उसने तिरस्कारपूर्वक कहा।
अगले दिन से 1 महीने का नोटिस पीरियड शुरू हो गया।
मेरे तलाक के इरादे को स्पष्ट रूप से व्यक्त किए जाने से पहले से ही मेरी पत्नी और मेरे बीच कोई शारीरिक संपर्क नहीं रह गए था। इसलिए जब मैंने उसे पहले दिन गोद में उठाया तो हम दोनों को अजीब लगा। हमारे बेटे ने हमारे पीछे ताली बजाई, डैडी ने मम्मी को गोद में लिया है।
उसके शब्दों ने मुझमें एक दर्द की भावना जगाई। शयन कक्ष से बैठक कक्ष तक, फिर दरवाजे तक, मैं उसे गोद में लेकर दस मीटर से अधिक चला।
उसने आँखें बंद की और धीरे से कहा; हमारे बेटे को तलाक के बारे में मत बताना। मैंने सिर हिलाया, कुछ परेशानी महसूस कर रहा था। मैंने उसे दरवाजे के बाहर नीचे उतार दिया। वह काम पर जाने के लिए बस की प्रतीक्षा करने लगी। मैं ऑफिस के लिए अकेला चला गया।
दूसरे दिन हम दोनों ने काफी आसानी से एक्टिंग कर ली। वह मेरे सीने पर झुक गई। मैं उसके ब्लाउज की खुशबू सूंघ सकता था। मुझे एहसास हुआ कि मैंने इस महिला को लंबे समय से ध्यान से नहीं देखा था। मुझे एहसास हुआ अब वह जवान नहीं रही थी। उसके चेहरे पर कम सही लेकिन झुर्रियाँ आ गई थीं, उसके बाल सफ़ेद हो रहे थे! हमारी शादी से उस पर बुरा असर पड़ा है। एक मिनट के लिए मैंने सोचा कि मैंने उसके साथ क्या कर दिया है?
चौथे दिन, जब मैंने उसे उठाया, तो मुझे आत्मीयता की वापसी का आभास हुआ। अरे, यह वही महिला है जिसने मुझे अपनी जिंदगी के दस अमूल्य साल दिए है।
पांचवें और छठे दिन, मैंने महसूस किया कि हमारे बीच एकरूपता की भावना फिर से बढ़ रही है। मैंने रीना को इस बारे में नहीं बताया। जैसे-जैसे दिन बीतते गए मेरे लिए उसे उठाना आसान होता गया। मैंने सोचा शायद प्रतिदिन कि ये कसरत ने मुझे मजबूत बना दिया।
एक सुबह वह सोच रही थी कि क्या पहने। उसने बहुत सारे कपड़े पहनने की कोशिश की, लेकिन उस एक भी उपयुक्त पोशाक नहीं मिली। फिर उसने गहरी सांस ली,वो बोली मेरे सभी कपड़े बड़े हो गए हैं। मुझे अचानक एहसास हुआ कि वह इतनी पतली हो गई है,मुझे अब समझ में आया कि यही असली वजह है जो मैं उसे इतनी आसानी से उठा पाता था!
अचानक एक विचार ने मुझे अन्दर से झकझोर दिया... उसने अपने दिल में कितना दर्द और कितना दुख दबा रक्खा होगा जिससे उसकी ऐसी हालत हो चली है। अवचेतना में कभी इस बारे में सोच ही नहीं सका, मैंने उसके सिर को छुआ।
हमारा बेटा उसी समय अंदर आया और बोला, पापा, माँ को गोदी में उठाने का समय हो गया है। उसके लिए, इस 1 महीने में अपने पिता को अपनी माँ को गोदी में उठाकर ले जाते देखना उसके जीवन का एक अनिवार्य हिस्सा बन गया था।
मेरी पत्नी ने हमारे बेटे को करीब आने का इशारा किया और उसे कसकर गले लगा लिया। मैंने अपना मुँह फेर लिया क्योंकि मुझे डर था कि मैं इस अंतिम समय में अपना विचार ना बदल दूं।
फिर मैंने उसे अपनी बाँहों में पकड़ लिया, शयनकक्ष से चलते हुए, बैठक के कमरे से होते हुए दरवाजे तक। उसने सौम्यता और स्वभाविक रूप से अपने हाथ मेरी गर्दन के चारो ओर रख दिए। मैंने उसके शरीर को कस कर पकड़ रखा था; यह हमारी शादी के दिन जैसा ही था।
लेकिन उसके बहुत ही कम वज़न ने मुझे उदास कर दिया। आखिरी दिन, जब मैंने उसे अपनी बाहों में लिया तो मैं मुश्किल से एक कदम भी आगे बढ़ सका। हमारा बेटा स्कूल के लिए चला गया था। मैंने उसे कस कर पकड़ लिया और कहा, मैं यह नहीं देख पाया कि हमारे जीवन में एंटमेसी की कमी हो रही है।
मैं ऑफिस चला गया.... दरवाजा बंद किए बिना तेजी से कार के अंदर बैठ गया। मुझे डर था कि थोड़ी सी देरी से भी मेरा मन बदल जाएगा ...
मैं वहां चला गया जहां रीना रहती थी। रीना ने दरवाजा खोला और मैंने उससे कहा, सॉरी रीना, मै अपनी पत्नी को अब तलाक नहीं दे पाऊंगा।
उसने मुझे आश्चर्य से देखा, वो अच्मभे में थी, और फिर मेरे माथे को छुआ। क्या तुम को बुखार है? उसने पूछा। मैंने अपने सिर से उसका हाथ हटा दिया। सॉरी, रीना, मैंने कहा, मैं तलाक नहीं लूंगा। मेरा वैवाहिक जीवन शायद इसलिए उबाऊ था क्योंकि वह और मैं अपने जीवन के छोटे छोटे पलो को महत्व नहीं देते थे, इसलिए नहीं कि हम अब एक-दूसरे से प्यार नहीं करते थे। अब मुझे एहसास हुआ कि जब से मैं उसे अपनी शादी के दिन अपने घर ले आया था तब मैने और उसने एक दूसरे से ये वादा किया था कि हम एक दूसरे का साथ तब तक नहीं छोड़ेंगे जब तक कि मौत हमें अलग न कर दे।
ऐसा लग रहा था कि रीना अचानक शॉक से जाग गई। उसने मुझे एक जोरदार थप्पड़ मारा और फिर दरवाजा मेरे मुंह पर पटक दिया और फूट-फूट कर रोने लगी। मैं उसके घर से बाहर आया और अपने घर की और चल दिया। रास्ते में फूलों की दुकान पर मैंने अपनी पत्नी के लिए फूलों का गुलदस्ता लिया। सेल्सगर्ल ने मुझसे पूछा कि कार्ड पर क्या लिखूं। मैं मुस्कुराया और लिखा, मैं तुम्हें हर सुबह उठाऊंगा जब तक मौत हमें अलग नहीं कर देती।
उस शाम मैं घर पहुँचा, हाथों में फूल और चेहरे पर बड़ी सी मुस्कान लिए। मै सीढ़ियाँ चढा और अपनी पत्नी को बिस्तर पर पाया मृत!!
मेरी पत्नी महीनों से कैंसर से लड़ रही थी और मैं रीना के साथ इतना व्यस्त था कि ना मैंने ध्यान दिया नहीं महसूस किया। वह जानती थी कि वह जल्द ही मर जाएगी और वह मुझे हमारे बेटे की नकारात्मक प्रतिक्रिया से बचाना चाहती थी, अगर हम तलाक के साथ आगे बढ़ते तो मेरा बेटा मुझसे पक्का नफरत करता।- कम से कम, हमारे बेटे की नजर में-- मैं एक प्यार करने वाला पति हूं ...
मैंने तो नहीं लेकिन मेरी पत्नी ने अपना वादा आखरी दम तक साथ निभाने का पूरी तरह से निभाया।
हा..पूरा जीवन अब मुझे पछतावे की आग में जलना था मगर अब अपने आखिरी दम तक अपनी पत्नी से और भी ज्यादा प्यार करता रहा चाहे वो मेरे साथ नहीं थी।
आपके जीवन के छोटे-छोटे पल ही एक रिश्ते में वास्तव में मायने रखते हैं। यह हवेली, कार, संपत्ति, बैंक का पैसा नहीं है। ये खुशी के लिए अनुकूल माहौल बनाते हैं लेकिन अपने आप में खुशी नहीं दे सकते।
इसलिए अपने जीवनसाथी के दोस्त बनने के लिए समय निकालें और एक-दूसरे के लिए वो छोटे-छोटे काम करें जो नवीनता पैदा करते हैं। एक वास्तविक सुखी विवाहित जीवन जिए!
यदि आप इस कहानी को शेयर नहीं करते हैं, तो कोई फर्क नहीं पड़ेगा।
अगर आप ऐसा करते हैं, तो आप शायद एक शादी को टूटने से बचा सकते हैं।
जीवन में कई बार ऐसे लोग असफल होते हैं जिन्हें इस बात का अहसास नहीं होता कि वे सफलता के कितने करीब थे जब उन्होंने हार मान ली।
पढ़िए कुछ और कहानियां जो आपके आंखो में आसू लेे आएगी...

Rula Diya Yaar... Sach Main
जवाब देंहटाएंMe kyu ro rha hu 😭😭
जवाब देंहटाएंMe kyu ro rha hu 😭😭
जवाब देंहटाएं